लोकसभा चुनाव: मध्यप्रदेश की सभी 29 संसदीय सीटों पर मतगणना शुरु

भोपाल, :  लोकसभा चुनाव 2024 के तहत मध्यप्रदेश की सभी 29 संसदीय सीटों पर आज सुबह कड़ी सुरक्षा के बीच मतगणना शुरु हो गई।
सुबह आठ बजे से 29 संसदीय क्षेत्रों की मतगणना 52 जिला मुख्यालयों पर शुरु हो गई। पहले डाक मतपत्रों की गणना शुरु हुई है। इसके पहले मतगणनाकर्मियों का तृतीय रेण्डमाईजेशन सुबह पांच बजे प्रेक्षकों की उपस्थिति में किया गया।
मध्यप्रदेश में ईवीएम की गणना हेतु तीन हजार 883 टेबल तथा पोस्टल मतों की गणना हेतु 242 टेबल लगाई गई हैं। 22 हजार 595 से अधिक अधिकारी कर्मचारी मतगणना करायेंगे। ईवीएम मतगणना हेतु सबसे अधिक 24 राउंड, खजुराहो लोकसभा अंतर्गत पवई विधानसभा क्षेत्र में तथा सबसे कम 12 राउंड, भिंड लोकसभा क्षेत्र अंतर्गत सेवढ़ा विधानसभा क्षेत्र जिला दतिया में होंगे। मतगणना के दौरान सबसे अधिक टेबलें बालाघाट के अंतर्गत आने वाले सिवनी, मंडला लोकसभा के केवलारी, लखनादौन और विदिशा लोकसभा क्षेत्र अंतर्गत आने वाले बुधनी में क्रमशः 28-28 टेबलें लगाई गई हैं। परिणाम आयोग की वेबसाइट रिजल्ट्स डॉट ईसीआई डॉट जीओवी डॉट इन और सीईओमध्यप्रदेश डॉट एनआईसी डॉट इन पर देखे जा सकेंगे। इसके लिए जिलों में स्क्रीन आदि की भी व्यवस्था की गई है। इसके साथ ही वोटर हेल्पलाइन ऐप पर भी मतगणना के परिणाम उपलब्ध रहेगें।
मध्यप्रदेश की जो सीट शुरुआत से सबकी निगाहों में रही, वो खजुराहो सीट थी। यहां से भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष और मौजूदा सांसद विष्णुदत्त शर्मा चुनावी मैदान में हैं। कांग्रेस ने ये सीट अपने गठबंधन साथी समाजवादी पार्टी के लिए छोड़ दी थी, लेकिन यहां से सपा प्रत्याशी मीरा यादव का नामांकन निरस्त हो गया। ऐसे में विपक्षी दलों के गठबंधन ‘इंडिया’ की ओर से ऑल इंडिया फॉरवर्ड ब्लॉक के प्रत्याशी आर बी प्रजापति को समर्थन देने की घोषणा की गई।
राज्य में मुख्य रूप से गुना, विदिशा और राजगढ़ संसदीय क्षेत्र भी सबके लिए उत्सुकता के केंद्र बने हुए हैं, जहां से क्रमश: केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया (भाजपा), पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (भाजपा) और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह (कांग्रेस) चुनाव मैदान में हैं। श्री सिंधिया का गुना में मुख्य मुकाबला कांग्रेस के राव यादवेंद्र सिंह से है, जबकि भाजपा के मजबूत गढ़ विदिशा में कांग्रेस ने श्री चौहान के सामने श्री प्रतापभानु शर्मा और राजगढ़ से श्री सिंह के सामने भाजपा ने मौजूदा सांसद रोडमल नागर पर दांव खेला है।
राज्य में कांग्रेस और भाजपा के लिए सबसे अधिक प्रतिष्ठित बनी हुई सीट छिंदवाड़ा भी है, जहां पर कांग्रेस प्रत्याशी के तौर पर वरिष्ठ कांग्रेस नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के पुत्र नकुलनाथ लगातार दूसरी बार संसद में जाने के लिए प्रयासरत हैं, वहीं सत्तारूढ़ दल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) अपने प्रत्याशी विवेक बंटी साहू के रूप में मैदान में डटकर कांग्रेस के इस गढ़ में सेंध लगाने की तैयारी में है।
इंदौर संसदीय सीट भी मध्यप्रदेश में चर्चा में है, जहां पर कांग्रेस ने अक्षय कांति बम को अपना अधिकृत प्रत्याशी घोषित किया था, लेकिन नामांकन वापसी के दिन उन्होंने सभी को चौंकाते हुए न केवल अपना नामांकन वापस ले लिया, बल्कि कांग्रेस को अलविदा कह कर भाजपा का दामन भी थाम लिया। इसके बाद इंदौर से कांग्रेस का कोई अधिकृत प्रत्याशी चुनावी मैदान में नहीं रहा। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी और पार्टी के अन्य नेताओं ने यहां लोगों से नोटा को वोट देने की पुरजोर अपील की। भाजपा ने यहां से मौजूदा सांसद शंकर ललवानी पर ही दोबारा भरोसा जताया है।
इसके अलावा झाबुआ-रतलाम सीट भी राज्य की हाईप्रोफाइल सीटों में से है। आदिवासी बहुल इस क्षेत्र पर कांग्रेस ने अपने कद्दावर आदिवासी नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री कांतिलाल भूरिया को मैदान में उतारा है। उनका सामना भाजपा की प्रत्याशी राज्य सरकार के मंत्री नागर सिंह चौहान की पत्नी अनिता नागर सिंह चौहान से है। मंडला (अजजा) भी प्रमुख है, जहां पर भाजपा प्रत्याशी के तौर पर वरिष्ठ आदिवासी नेता फग्गन सिंह कुलस्ते का मुकाबला कांग्रेस के ओंकार सिंह मरकाम से है।
राज्य में कुल 29 लोकसभा सीट हैं, जिनमें से पिछले चुनाव में छिंदवाड़ा को छोड़कर शेष सभी 28 सीटों पर भाजपा का कब्जा हुआ था। इस बार भाजपा ने इस सीट को भी अपने खाते में लाने के लिए कोई कोर-कसर नहीं छोड़ी है।

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